Showing posts from December, 2024

प्रेम की प्रताड़ना, मोह का वर्तुल और थेपला वाली फ्लाइट — एक दिलायरी || Today I read some very powerful lines..

ना कह पाने की कला, गार्गी के सवाल और रविवार की दिलायरी || Worldliness is worse than the world..!

"प्रियंवदा, प्रयागराज बुला रहा है! – कुम्भ, कुएँ और कथाओं के बीच एक शनिवार की डायरी" || Wow Saturday, why are you coming brother? | Dilaayari ||

मेरा पिया घर आया: लौटन की कविता, हिसाब-किताब और अग्निलीलाएँ | दिलायरी || not being able to stay at home.. | Dilaayari ||

दिलायरी की डींगें और दिल से निकली बात – कॉलेज होस्टल से नव उपनिवेश तक || Dilaayari...

कुम्भस्नान के ख्वाब, बैगन का बदला और प्रियंवदा के नाम की शुरुआत || The pot of sin has been filling for a long time.. | Dilaayari ||

"नव-उपनिवेशवाद: रिश्तों, राजनीति और पत्ते की दुकान का सच" || Neocolonialism...

"डींगे, डायलेक्ट और दर्जी की जीन्स – 24 दिसंबर की दिलायरी" || I have to sleep to meet you.. | Dilaayari |

"प्रियंवदा, ठुमरी, कचौड़ी और एक अदद चायवाला - सर्दियों की डायरी" || I believe more in hope.. || Dilaayari ||

"अभिगम-परिहार संघर्ष और प्रियंवदा के साथ मेरा सत्य" || "approach - avoidance conflict"

जब बातें ख़त्म हो जाती हैं, और “hmmm” बचता है — बातचीत, टेक्नोलॉजी और ओवरथिंकिंग पर एक डायरी || a lot of talks, chats.. ||